बलिदानियों किय गया याद, मुक्ति योद्धा भी हुए शामिल, सीएम ममता बनर्जी ने गुनगुना कर दी श्रद्धांजलि

कोलकाता:विजय दिवस के अवसर पर भारतीय सेना के पूर्वी कमान मुख्यालय स्थित सेना के पूर्वी कमान मुख्यालय फोर्ट विलियम स्थित विजय स्मारक पर बलिदानियों को श्रद्धांजलि अर्पित की। इस मौके पर बांग्लादेशी मुक्ति योद्धा (स्वतंत्रता सेनानियों) की एक नौ सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल ने भी भाग लिया और विजय स्मारक पर पुष्प चक्र अर्पित किए।

समारोह में मुख्य अतिथि बंगाल के राज्यपाल डॉ. सीवी आनंद बोस सहित पूर्वी कमान के प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल रामचंद्र तिवारी एवं तीनों सेनाओं के वरिष्ठ अधिकारियों ने विजय स्मारक पर पुष्प चक्र अर्पित कर देश की रक्षा के लिए अपने प्राण न्योछावर करने वाले बलिदानियों को श्रद्धा सुमन अर्पित किया। शाम को यहां आरसीटीसी मैदान में भारतीय सेना के जवानों ने हैरतंगेज कारनामे दिखाए। शाम के कार्यक्रम में पहली बार बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी बतौर मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुईं।

बांग्लादेशी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व ब्रिगेडियर जनरल मोहम्मद अनिनूर रहमान ने किया। श्रद्धांजलि कार्यक्रम में पूर्व सेनाध्यक्ष जनरल शंकर राय चौधरी, पूर्व वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल अरुप राहा के अलावा 1971 के युद्ध में भाग लेने वाले भारतीय सशस्त्र बलों के कई पूर्व दिग्गज (वेटरंस) भी मौजूद थे। उल्लेखनीय है कि 1971 के युद्ध में पाकिस्तान पर मिली ऐतिहासिक जीत की याद में हर साल 16 दिसंबर को भारतीय सेना विजय दिवस के रूप में मनाती है।

लोगों को उत्पीड़न से मुक्ति दिलाई : राज्यपाल
बलिदानियों को श्रद्धांजलि देने के बाद राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने कहा, 1971 के युद्ध में पाकिस्तान के खिलाफ भारतीय सशस्त्र बलों की जीत ने लोगों को उत्पीड़न से मुक्ति दिलाई और बांग्लादेश के निर्माण का मार्ग प्रशस्त किया। भारत जानता है कि कैसे एक साथ आना है, कैसे सोचना है और कैसे एक साथ काम करना है।

बोस ने कहा, ‘न केवल भारत के लिए, बल्कि पूरे लोकतांत्रिक विश्व के लिए यह दिन लोगों के उत्पीड़न से मुक्ति का प्रतीक है। बांग्लादेश के निर्माण में भारतीय सशस्त्र बलों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। बांग्लादेश में हमारे भाइयों और बहनों ने यह सिद्ध किया कि किसी का हमेशा दमन नहीं किया जा सकता।

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