पीटीआई के दफ्तर में छापेमारी, पुलिस ने आरोपों से किया इनकार; जानिए पूरा मामला
पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। अब उनकी पार्टी के खिलाफ कार्रवाई करते हुए पुलिस ने उनके दफ्तरों में छापेमारी की। गुरुवार को साधारण कपड़े पहनकर पहुंची पुलिस ने सदस्य को परिसर में घुसने से रोक दिया। पार्टी से जुड़े सूत्रों के मुताबिक, यह छापेमारी इमरान खान और उनकी पत्नी बुशरा बीबी को भ्रष्टाचार के एक मामले में 14-14 साल के कठोर काराबास की सजा सुनाई जाने के एक दिन बाद पुलिस ने यह कार्रवाई की।
इमरान खान की पार्टी की लगातार बढ़ रही है मुश्किलें
बुधवार को इस्लमाबाद में पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी की एक आम सभा से पहले अचानक साधारण कपड़ों में पुलिस बल पहुंचा। हालांकि पीटीआई ने ऑनलाइन सभाओं को आयोजित किया है। साथ ही कहा कि पार्टी के भीतर संगठनात्मक चुनाव कराने का भी फैसला लिया है। बता दें इमरान की पार्टी को आठ फरवरी को होने वाले आम चुनावों से पहले कई मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। जिसमें चुनाव आयोदग द्वारा पार्टी के चुनाव चिन्ह को निरस्त करने, पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी और कई अन्य पार्टी नेताओं के नामांकन पत्रों को रद्द करना शामिल था। खास बात है कि पुलिस के एक बड़े अधिकारी ने आरोपों से पलड़ा झाड़ते हुए कहा कि मजिस्ट्रेट की अनुमति के बिना छापेमारी नहीं की जा सकती है। बुधवार को कोई भी ऐसा आदेश जारी नहीं किया गया था।
हमने नहीं की छापेमारी, आरोप निराधार- पुलिस
एक आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि इमरान खान और उनकी पत्नी बुशरा बीबी के खिलाफ जब कोर्ट ने फैसला सुनाया गया था तो संभावनाएं जताई जा रही थी कि विरोध प्रदर्शन किया जाएगा। पुलिस ने पार्टी कार्यालय में प्रवेश नहीं किया, सिर्फ बाहर की खड़े थे। वहीं पीटीआई के प्रतिनिधि ने बताया कि आम सभा की बैठक इस्लामाबाद, सभी प्रांतीय राजधानियों और गिलगित बाल्टिस्तान में आयोजित करने की योजना थी। जिसके लिए सभी स्थानों को इंटरनेट से जरिए जोड़ने की तैयारी थी। पार्टी से जुड़े नेता ने दावा किया था कि पुलिस अधिकारियों ने पीटीआई सदस्यों को धमकी दी, जो आम सभा की बैठक में भाग लेने के लिए वहां पहुंच रहे थे। उन्होंने धमकाया कि अगर वह शामिल हुए तो इसका परिणाम उन्हें भुगताना पड़ेगा।