ईएसआई का भाई रिश्वत के 1.40 लाख रुपये लेता दबोचा, भेजा जेल
यमुनानगर में एनडीपीएस एक्ट के केस से नाम निकलवाने के लिए रिश्वत लेते हुए करनाल के गांव जडौली निवासी इस्लाम खान को एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने गिरफ्तार कर लिया। आरोपी को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया है।
आरोपी इस्लाम हरियाणा स्टेट नारकोटिक्स ब्यूरो में तैनात अपने भाई ईएसआई महबूब अली और अन्य एएसआई पवन के कहने पर उत्तर प्रदेश के सहारनपुर के गांव बादीमाजरा निवासी बिलाल से रिश्वत के पैसे लेने के लिए पांजूपुर में फर्नीचर की दुकान पर भेजा था।
इसी दौरान विजिलेंस की टीम ने उसे दबोच लिया। रकम 1.40 लाख रुपये थी। जिसमें 280, 500-500 के नोट थे। इसके बाद आरोपी को तुरंत गिरफ्तार कर टीम अपने साथ कार्यालय ले गई। उधर आरोपी ईएसआई महबूब अली और एएसआई पवन दोनों मौके से फरार हैं जिनकी धरपकड़ शुरू कर दी है।
ढाई लाख रुपये की थी मांग, लेकिन तय हुई 1.40 लाख रुपये में
विजिलेंस के इंस्पेक्टर सुरेश ने बताया कि हरियाणा स्टेट नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो ने एएसआई पवन की शिकायत पर एनडीपीएस एक्ट का केस दर्ज हुआ था। इस केस में यूपी के बिलाल को भी आरोपी बनाया गया। बिलाल टैक्सी ड्राइवर है। इस केस से उसका नाम निकलवाने के लिए दोनों आरोपी बिलाल से ढाई लाख रुपये रिश्वत मांग रहे थे। बाद में एक लाख 40 हजार रुपये में बात तय हुई थी।
रिश्वत के पैसे लेने महबूब ने भाई को भेजा
बिलाल ने इस संबंध में एंटी करप्शन ब्यूरो को शिकायत दी। जिसके बाद आरोपी को पकड़ने के लिए जाल बिछाया गया। आरोपी ने बिलाल को फोन किया तब उसने कहा वह लाडवा आढ़ती के पास है। इसके बाद उसे कुंजपुरा मिलने के लिए कहा। यहां पर वह खुद नहीं गए। महबूब अली ने अपने भाई इस्लाम को कुंजपुरा भेजकर बिलाल से मिलने के लिए कहा। यहां पर उनकी बात हुई और जैसे ही वह उसे पैसा देने लगा तो इशारा पाकर उसे एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने पकड़ लिया। विजिलेंस टीम ने आरोपी को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया और दानों आरोपियों की धरपकड़ शुरू कर दी है।