‘आंख मूंदकर खातों को फर्जी घोषित करने पर लगाम कसे आरबीआई’; बॉम्बे हाईकोर्ट का निर्देश
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बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को कहा कि कई बार बैंक एकदम आंख मूंदकर खातों पर फर्जी या चूककर्ता का ठप्पा लगा देते हैं। उन्हें कुछ तो दिमाग लगाकर काम करना चाहिए। इस तरह कट, कॉपी, पेस्ट वाले आदेश नहीं दिए जा सकते। आखिरकार यह जनता का पैसा है। कोर्ट ने इसके साथ ही आरबीआई से कहा कि बैंकों के ऐसे रवैये पर लगाम कसने के लिए उसे उपयुक्त कदम उठाने चाहिए।
जस्टिस रेवती मोहिते डेरे और नीला गोखले की खंडपीठ ने यह बात उद्योगपति अनिल अंबानी की एक याचिका पर सुनवाई करने के दौरान कही, जिसमें उनके खाते को फर्जी घोषित किए जाने के यूनियन बैंक ऑफ इंडिया के 10 अक्तूबर, 2024 के आदेश को चुनौती दी गई है। हाईकोर्ट ने इस मामले में अनिल अंबानी को रिजर्व बैंक इंडिया का दरवाजा खटखटाने को कहा। अंबानी ने याचिका में कहा था कि बैंक ने उन्हें सुनवाई का मौका नहीं दिया।
साथ ही, उन दस्तावेज की प्रतियां भी नहीं दीं जिनके आधार पर यह आदेश पारित किया गया था। याचिका पर सुनवाई के दौरान पीठ ने कहा कि उसके सामने बार-बार ऐसे मामले आ रहे हैं, जहां बैंक आरबीआई की तरफ से निर्धारित दिशा-निर्देशों का पालन किए बिना खातों को फर्जी या जानबूझकर चूककर्ता घोषित कर देते हैं। पीठ ने कहा, इस तरह के आदेश इतनी लापरवाही से पारित नहीं किए जा सकते।